Wednesday, 12 June 2013

भर गया है ग्लास



टेबुल  पर नेताओं  के भर गया है  ग्लास
भ्रष्टाचार से  लबालब  भर गया  है ग्लास

बाहुबली  माफिया लुटेरों के  हाथ पड़कर
चियर्स के  बोल पर  टकरा  रहा है ग्लास

फिस चिकन  मटन के  साथ रोज रात में
व्हिस्की रम से  नशा  बढ़ा  रहा है ग्लास

भूना काजू बादाम पिस्ता रखा है मेज पर
नेताओं के होंठ से वहाँ सट  रहा है ग्लास

उत्तेजक  वस्त्रों  में थिरकती  हैं कॉल  गर्ल
मदभरी नशा  के लिए भरा  पड़ा है ग्लास

सत्य अहिंसा  प्रेम की जगह  नहीं यहाँ है
बलात्कार लूटमार से तड़प  रहा है ग्लास

वोट का  माहौल  ज़ल्द  फिर आ रहा   है
जनता तबाह होगी यह कह रहा है ग्लास 

   

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